केंद्र सरकार के निर्देश पर उत्तराखंड सरकार ने समस्त जिलाधिकारियों के लिए नई एसओपी जारी कर दी है। बढ़ते कोरोना संक्रमण के मामलों को देखते हुए नए दिशनिर्देशों में कंटेनमेंट, सर्विलांस, सतर्कता को लेकर कुछ विशेष बातें कही गई हैं। केंद्र सरकार ने राज्य सरकारों को कोरोना महामारी की रोकथाम के लिए स्थानीय स्तर पर नाइट कर्फ्यू समेत प्रतिबंधों को लगाने की इजाजत दे दी है। लेकिन राज्य अगर राज्य लॉकडाउन लगाना चाहें तो उन्हें सरकार की अनुमति लेनी होगी। ऐसे में राज्य सरकार ने जिलाधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि वह कोरोनावायरस को रोकने के लिए तमाम ऐतिहासिक कदम उठाएं इसके साथ साथ मास्क पहनने को लेकर सख्ती बरतने के भी निर्देश दिए गए हैं ।वहीं भीड़भाड़ वाले इलाकों में सोशल डिस्टेंसिंग कैसे पालन हो इसको लेकर गृह मंत्रालय के निर्देशों का ही पालन किया जाएगा वही अभी ट्रेन और हवाई यात्रा को लेकर सख्त निर्देश जारी हुए हैं वहीं अगर जरूरत पड़ी तो ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट बस विक्रम आदि के लिए भी अलग से गाइडलाइन जारी करेगा।
गाइडलाइन्स के अनुसार, राज्य को कंटेनमेंट जोन में कड़ाई के साथ नियमों को लागू करना होगा। वहीं, 65 साल से ज्यादा आयु के व्यक्तियों और 10 साल से कम उम्र के बच्चों को घर में रहने की सलाह दी गई है। यह गाइडलाइंस 1 दिसंबर से लेकर 31 दिसंबर तक प्रभावी रहेगी। गृह मंत्रालय ने कहा कि कंटेनमेंट जोन में सिर्फ जरूरी गतिविधियों की ही इजाजत दी जाएगी। कंटनमेंट जोन में नियमों को कड़ाई के साथ लागू करने की जिम्मेदारी स्थानीय जिला, पुलिस और निगम अथॉरिटीज की होगी। इसके साथ ही, राज्य और केन्द्र शासित प्रदेस संबंधित अधिकारियों के साथ मिलकर जिम्मेदारी सुनिश्चित करेंगे।
गृह मंत्रालय की तरफ से जारी बयान में यह कहा गया है कि सर्विलांस टीम घर-घर जाकर सर्विलांस करेगी और कोविड-19 मरीजों का उपचार सुविधाओं के साथ फौरन आइसोलेशन सुनिश्चित की जाएगी। गृह मंत्रालय ने कहा है कि राज्यों को भी कार्यालयों में सोशल डिस्टेंसिंग को लागू करने की आवश्यकता है। वही गाइड लाइन में जिला प्रशासन को नाइट कर्फ्यू लगाने का अधिकार तो दिया गया है लेकिन लॉकडाउन लगाने का अधिकार केवल राज्य सरकार के निर्देश पर ही होगा। वहीं स्मार्ट सिटी की वेबसाइट में रजिस्ट्रेशन अनिवार्य किया गया है वही अन्य तमाम निर्देश पूर्ववत रहेंगे।